Sunday, February 17, 2008

FIGHTS BETWEEN RAJ THAKEREY'S MNS AND BHIYYAS

Following is the discussion about Raj Thakerey's MNS activists and bhaiyyas from UP and Bihar

Mr.S-जनाब मै भि पुना का हि रहने वाल हुन और अभि CA(USA) मै काम कर्ता हुं पेहेले हुम indian है समझ गये कल राज ठाकरे के गुन्डो ने ४ लोगोन के हाथ पाओं काट डाले जिस्मे एक lady भि है. क्या येह सहि है ????????????? कहि भि रहो .....remember this things we are all of first indian! ज़य हिन्द..


ME-i didn't support Raj's actions u can check last weeks posts in the community. we r all indians first- accepted!but india is multicultural. महाराष्ट्र कि अपनि एक सन्स्क्रिति है,अपनि भाषा है. अगर हम भारतिय है,तो हमने सभि भारतिय भाषओंका और सभि प्रांतोकी सन्स्कृति का सम्मान रखना चाहिये. पर भैयोंका कहेना ये है की सभी लोगों ने सिर्फ़ नॉर्थ इन्डिअन सन्स्कृति और भाषाका सम्मान रखना चाहिये. हम इसके विरोधमे है. आप USA मे है तो आप USA के लोगों के खिलाफ़ अगर जाने लगे,उनके खिलाफ़ गुन्डागर्दी करने लगे तो चलेगा क्या???नहि चलेगा. वैसेही महाराष्ट्र के खिलाफ़ हात उठेन्गे तो उसका जवाब भी मिलेगा. अभि कल आपने इतनी गालियां दियि क्यों??क्योंकि आपको दियि हुइ गालिय आपको पसंद नही आयी . आपने 'tit for tat' किया. similarly लाठिके बदले तलवार ये भि 'tit for tat' है. आप लोग हमें कहते है कि सहिष्णुता दिखाइये लेकिन खुद गालिगलोच करते हुए सहिष्णुता का पालन नहि करते.भारतिय संविधान ये केहता है कि कोइ भी आदमी कही भी जा सकता है लेकीन वही संविधान ये भी कहता है की जब कोइ स्थलांतर करे तो उसने उस जगहकी local लोगोंको ,भुमिपुत्रोंको disturb नही करना चाहिये. इसके बारेंमे आप लोग क्या कहते है???

Mr.S-yes you are right our country is multicultural. रही बात संस्कृती और भाषा की तो मैने हमेशा सभी का respect किया है. वैसे आपने महाराष्ट्र की सन्स्कृती और भाषा की बात कि है तो मै आपको एक बात बताना चाहता हुं :--- महाराष्ट्र की regionall language है मरठी और यहां के लोग मराठा को अपना पुर्वज मानते है अगर येह सच है तो क्या कहती है मराठा की सन्स्कृती क्या राज ठाकरे को पता भी है? मराठा लोग दुसरों की इज्जत बचाने के लिये अपनी जान तक दे देते थे लेकिन ११ फ़ेब २००८ को कुर्ला में क्या हुआ राज ठाकरे के आदमियों ने एक बिहार की लडकी कि इज्जत लूट ली ये मै नही कह रहा कुर्ला पोलिस स्टेशन incharge का कहना है police incharge ने खुद येह accept किया है..

मराठा ने दुसरे राजाओं की भी जाकर हेल्प की और अन्ग्रेजो को यहां से भगाया टूटे हुए area को मिलाया लोगोन से एक साथ रहने कि बात कहि. मराठा लोगोन ने कभी अपनी पर्वाह नहि की हुमेशा दुसरों के हेल्प ही किया करते थे लेकिन कल नासिक मैं क्या हुआ राज ठाकरे के आदमियों ने एक मराठी engineer(worked in HAL) को ही मार डाला इन लोगोन ने अपने ही लोगो को मार डाला क्यों ???? उसके बाद १४ फ़ेब २००८ in evening at 5:30 PM राज ठाकरे का ये statement-“पिछले कुछ महीनों से पार्टी भीषण आर्थिक संकट से गुजर रही थी। कोई कार्यक्रमकरने के लिए कार्यकर्ता किसी उद्योगपति या व्यवसायी के पास एक रुपया भी मांगने जाए तो उसे दस पैसे देकर निपटा दिया जाता था। उन्हें उम्मीद है कि मनसे के पिछले दस दिनों में दिखे तेवरों के कारण अब स्थिति बदल चुकी होगी। अब बिना मांगे भी लोग मनसे को पार्टी फंड देने में कोताही नहीं करेंगे। ”
राज ठाकरे क्या चाहता है ये आपको भी पता है जरा ध्यान दिजिये इनके statement पे.
अब बात आति है language कि तो मराठी,बिहारी,भोजपुरी,मथिलि,कन्नड,तमिल,तेलुगु….इत्यादी.
ये सब reginal language है हमारी मातृ भाषा या mother tongue हिन्दि है ये सबको पता है. राज ठाकरे चाहते है की हर जगह मराठी हो महाराष्ट्र में तो वहां जयललीता चाहती है हर जगह तमिल हो , ज्योती बसु चाहते है हर जगह बेंगाली हो ….इसि तरह सभि लोगोन कि अपनी अपनी बात ….ये कभी possible नही होगा ये आपको भी पता है. एक को मानिये तो दुसरा नाराज़ हो जाता है आखिर आप कितनो को मनायेंगे जब तक लोग खुद नहि इस बात को समझेंगे कुछ नहि हो सकता.
मेंने जो कुच भी बोला वो सिर्फ़ राज ठाकरे को बोला किसि महाराष्ट्र के public को नहि….किसि भि प्रॉब्लेम का solutions झगडा नहि है अगर ऐसा होता तो आप क्यों study के लिये other country को जाते क्या आपका मन नहि करता की आप भि अपने family के साथ अपने native place मै होते

मैने communities मैं ये message भि पोस्ट किया था राज ठाकरे कि सोचन सहि है but मार पीट कर भगा देना १२ फ़ेब २००८ एक pregnant lady को जबरदस्ती train मैं धक्का दिया गया कुछ समय बाद train में ही delivery हुइ कितनी शरम कि बात है जिस ने हमे जनम दिया हमने उसके साथ क्या किया ??? जिसके वजह से हमरा वजूद है हमने उसी का रेप कर डाला ये कहां का इन्साफ़ है ?????????? रहि बात festival कि तो क्या आप परदेस मैं गणपति फ़ेस्टिवल मनायेंगे तो क्या वहां के सन्स्कृती को नुकसान होगा?? बिल्कुल नहि अगर कोइ कहता है तो वो politics कर रहा है और कुछ नहि राज ठाकरे ने बिहार के फ़ेस्टिवल छट के बारे मैं कहा था कि येह फ़ेस्टिवल नहि नौटन्कि है लोग नौटन्कि मैं शक्ति प्रदर्शन करते हैन …. अगर यहि बात कोइ गणपति फ़ेस्टिवल के बारे मैं कहे तो मुझे कैसा फ़ील होगा आप खुद बताइये ?अब बात आती है other state worker कि जो महाराष्ट्र मैं काम करते हैं…………

Approx १९८० or later धिरे धिरे महाराष्ट्र का development शुरु हुआ था. उसके पेहले और उस समय UP और बिहार का काफ़ि नाम था पटना university को west Cambridge university कहा जाता था मैं १५ professor को जानता हुं जो basically maharastra से belong करते हैन लेकिन उस वक्त महाराष्ट्र मैं अपनी property sale करके पटना मैं जाकर shift हो गये महाराश्ट्र मैं जिनके पास काफ़ी पैसा था वो लोग abroad चले गये थे
महाराष्ट्र के Development के लिये UP और बिहार से labour बुलाये गये क्योंकि ये लोग कम पैसे मैं भि काम करने को तैयार थे. जब महाराष्ट्र कि development हो रहा था तब सबको इनकि जरूरत थी अब जबकी महाराष्ट्र develop हो गया तो लोगो के हाथ पाओं काट दिये गये येह rumour नहि reality है क्योंकि जिसके हाथ काटा गया उसका भाई भी वहिं पिटा जा रहा था अभि दोनो गोरखपुर हॉस्पिटल मैं admit हैं.

मुझे गुस्सा सिर्फ़ इस बात को लेकर है कि ये खुन खराबा क्यों क्या आपक blood का रंग कुछ और है ?????? कहते हैं history अपने आपको repeat करता है थोडा imagine किजिये की अगर ऐसा हुआ तो फ़ीर क्या होगा… जो कुछ इनके साथ हो रहा है वही कल हम लोगो के साथ होगा और तब उस समय वो लोग भी अपने आपको सही prove करने मैं लगे होंगे जैसे अभि राज ठाकरे लगे हुए हैं. आप ही बताइये इस समय कौन disturbed है local public या outer public जिनका सबकुछ लूट गया. मैं २००२-२००५ IIT, मुंबै मैं था फ़िर Bangalore गया उसके बाद Singapore फ़ीर france, उसके बाद tokoyo मैं रहा अभी California ,USA मैं हुं मैं सबको कहता था हमारी मुम्बै जैस कोइ city नही है लेकिन आज मुझे अपने आप पे शरम आती है क्योंकि अपने लोग ही अपनो को पीट रहे है लोगो को आपस मैं लडान चाहते है जाती के नाम पे country को तोडना चाहते है. कोइ भी इन्सान बडा करम से होता है बडक्पन से नहि

अगर आपको मेरी कोइ बात बुरि लगि हो तो माफ़ी चाहता हुं मेरा मक्सद किसि के मान को ठेस पहुंचाने नही था . मैं तो सिर्फ़ इतना पुछना चाहता हुं की क्या आप अपने आने वाले generation को यही सब कुछ देना चाहते है क्या हम लोग एक साथ मिलकर नही रह सकते क्या educated होने के वावजूद हम दुसरे के दर्द को feel कर पाते हैं…..

Me-१)आपने जो लिखा है उसमे जो रेप कि बात हुइ है,या pregnant औरतकि बात हुइ है,या फ़िर हात काटनेकि बात हुइ है वो सब rumours है. उसका MNS के आंदोलनसे लेनादेना नहि है. हां कल नासिक मैं एक मराठि आदमिकि मौत MNS कि बजहसे हुइ है.दुसरि बात येह है कि mediaने इस issueको जरुरतसे ज्यादा बडा बनाया है,मैने मुम्बै रेहेने वालोंको पुछा था पर उन्होने कहा है कि situation इतनिभि बुरि नहि है जितनि mediaवाले दिखा रहे है. इन लोगों ने अपना पेट भरनेके लिये ऐसा माहोल पैदा किया जैसे की गुजरात जैसे दंगे हो रहे है या फ़िर महाराष्ट्र जल रहा है. वास्तविकता वैसी नही है. कै सारे मराठि newspapers ने इसका जिक्र किया है कि real situation ऐसी नही है,मराठि newspapers वाले महाराष्ट्र को ज्यादा अच्छेसे जानते है,बल्कि mainstream media नही जानता(remember how mainstream totally miscalculated gujrat elections) same is happening here.

२)सबसे important मुद्दा येह है कि मैने राजका विरोध ही किया है. आप community के previous pages देख सकते है(आजके १०-१२ दिन पेहलेके). पर राजने जो मुद्दा उठया है वोह पुरि तरह baseless नहि है. और एक important बात है की मराठी to हिन्दि इन्ग्लिश translation मैं बहुत सारि चिज़े गलत लिखि गयि है. अभि आजके indian express मैं एक news है जो कि मराठि weekly ळोकप्रभा मैं छापि राजकि interviewके बारेमे है. उस newsमैं लिखा है कि राज खुदको jefferson,mahatma gandhi se compare करते है,constitution बदलनेकि मांग करते है वगैर वगैर. लेकिन असलमैं अगर आप वो interview पढे तो राज ने ऐस कुछ भि नहि कहा है. आपने जो राजका statement लिखा है वोह आपने कहांसे लिया है??plz give me link.

३)yes in history,we had really glorious history.forget other women even enemy women were given respect.छत्रपती शिवाजी महाराज अगर कोइ soldier दुश्मनकी औरतोंपर rape करता तो उसके हात काट डालते थे. इसकी बजहसे हमारे soldiersने कभीभी दुश्मनकि औरतें,धर्मग्रंथ,धर्मस्थल पर attack नही किया था(u can read incidence of Shivaji maharaj n kalyan's subhedar's daughter in law).

अगर इस आंदोलन मैं ऐस कुछ हुआ है तो वो बहुत बुरा है,और राज भी ऐसे लोगोंको support नही करेंगे.i must tell u MARATHI PEOPLE R STILL HAVING MARATHA BLOOD N RAPE OR DISRESPECT OF WOMEN WILL NEVER BE ACCEPTED BY MARATHI COMMUNITY.

४)हमारी मात्रुभाषा मराठि है और राष्ट्रभाषा हिन्दि है. all marathi people know hindi!!but people from south india,bengal don't know hindi.our point is that why nobody teaches them about hindi's gr8ness???why only marathi people r said to respect and speak hindi???we all know hindi.what we r sayin that because of hindi people r increasing in our state,our language is in trouble.if we won't do anything now,after some decades marathi will become extinct.something must be done 2 save marathi language.what we offer is all those who come 2 maharashtra should learn and speak marathi.u must speak tamil in tamilnadu,malyalam in kerala,telugu in andhra,RUSSIAN IN RUSSIA, FRENCH IN FRANCE N GERMAN IN GERMANY.what is wrong with that???

५)nobody says that marathi should be spoken throughout country,nobody says that tamil should be spoken in delhi or patna.ur information is absolutely wrong. what we say is once u come 2 maharashtra u should learn marathi.is it so difficult to learn a language??no absolutely not.i know 5 languages.there r many gujratis,marwaris ,jains in maharashtra but they learnt marathi,they spoke their language at home but socially they used and still use marathi.same is with marathis who live in gujrat for example.they know gujrati.this gives a very good message that outsider respects locals.

६)भैय्याओंके बारेमैं येही problem है की ऐस दिखता है की वोह मराठीको respect ही नही करते(कुछ exceptions होंगे). अभि एक UP के कॉर्पोरटर ने ऐसा प्रस्ताव लाया है कि BMC के व्यवहार हिन्दि मैं हो. इसकी क्या जरुरत है????और मैं आपको बताना चाहता हुं के आप कितना भी कहे लेकिन भैय्या लोग गुंडागर्दी बहुत करते है(सभी नही करते लेकिन जो नहि करते वोह करनेवालोंको नहि रोकते).शीला दिक्षित और delhi ke deputy governor ने भी येहि बात कहि है. अब इतने लोग केहते है तो वोह आरोप पुरि तरह baseless तो नहिं है.

७)सिधिसि बात है कि राजको सभि दुसरे मराठी नेताओने oppose किया लेकिन मराठी लोगोन के खिलाफ़ लाठिया देनेकी बात करनेवाले अबु आज़मी,अमर सिंघ के खिलाफ़ कोइ नही बोलता. ऊनके political opponents भी नही बोलते. क्यों मायावती नही बोली के समाजवादी पार्टी लाथिया देने की गलत बातें करके मराठी लोगोन के खिलाफ़ UP के लोगोन को भडका रहें है???क्योन mediaने येह बात नही उठाइ???तलवारके खिलाफ़ सब बोल रहे है लेकिन लाठिके बारेमैं कोइ नहि बोल्ता. लाठिया लायी तो तलवार लाओ ऐसा बोला गया था,अगर लाठि नहि आयेगी तो तलवार भि नहि आयेगि येह कोइ क्यों नही बोलता??

८)दुसरा मतलब festival.मैंनेभि mainstream की बात सुनके community पर येही मुद्दा कहा था कि आप छट पुजा को विरोध कैसे करते है??उसका विरोध कर्ते है तो ईद,ख्रिसमस का क्यों नही कर्ते???पर बादमैं जब मैने मराठी statements पढे तो वहां छट पुजाका कहिं भी विरोध नही किया था. महाराष्ट्र टाइम्स नामके newspaper मैं राज का article आया जिसमैं भी उन्होने येहि मुद्दा उठाया था के उन्होने छट पूजा को विरोध नही किया है.उन्होने विरोध इस बातका किया था के छट पुजा के नामपर बिहार,UP politicians आते है और मराठी लोगोंके खिलाफ़ भडकाने का ‘नाटक’ करते है. राजने छट पुजा का नही तो उसके नामपर चलने वाले गंदी politics का विरोध किय था.

९)महाराष्ट्र कि development ८०के बाद शुरु हुइ येह statement एकदम गलत है. महाराष्ट्र के formation के बादसे मुम्बै देशका industrial capital रहा है. हम हमेशा बिहार और UPसे आगे थे. पुना मैं देशकि first national school और college बनि थि और पुना को oxford of east अभिभि कहा जाता है और पेहेलेभि कहा जाता था. आपने पटना विद्यालय कि बात लिखि है उसके बरेंमैं मै कहुंगा की उन professors को उस university मैं अच्छी opportunities थी इस लिये वो वहन गये होंगे. महाराष्ट्र मैं १९८० के बादके कुछ साल मिल strike हुआ था उसकि बजहसे उल्टा कर्के बहुत problems हुए थे. महाराष्ट्र was developed even before 1980. अगर पटना ज्यादा developed होता तो वहां के लोग इतने कम पैसे मैं मुम्बै क्यों आते???indians कम पैसे मैं काम कर्ते है इस लिये उन्को US बुलाया जाता है,US के लोग यहां नही बुलाये जाते. क्योंकि उन्के यहां developement है,उन्हे कम पैसेमैं काम कर्नेकि क्या जरुरत है??both of ur statements r wrong.

१०)अभिभि मुम्बै सबसे अच्छि है,छोटीमोटी लडाइया mediaने बडी कियी है,उसकि बजहसे मुम्बैका स्पिरिट खतम नहि होगा. MNS separatist नहिं है,उन्होने देश तोडने कि कोइभी बात नही कही है. येह सब media creation है. everybody must remember one saying 'WHEN U GO TO ROME,DO AS THE ROMANS DO'.पर येह सब नहि होता अगर UP,Bihar मैं developement होता. मुझे कोइ hope नहि है क्योंकि bhaiyyas r mostly uneducated और उसका पुरा फ़ायदा अबु आज़मी वगैरा उठायेंगे. मराठी लोगोंकि अस्तित्व के लिये उनको भि जवाब देनाही पडेगा. हां,सबने मिलजुलकर रेहना चाहिये पर येह बात भैय्यओंको भि समझनि चाहिये कि महाराष्ट्र आकर यहंकेहि भुमिपुत्रोंके खिलाफ़ लाठिया बाटना गलत है. मुलायम ने तो कहां है कि भैय्याओने उनका विरोध करने वालोंके खिलाफ़ 'जिहाद' पुकारना चाहिये. अगर जिहाद होगा तो हमभी हातपर हात रखकर नही बैठ सक्ते ना???

११)मैं राजका विरोध करता हुं क्योंकि ऐसि मारामारी कर्के येह problem solve नही हो सक्ता, उसके लिये permit system लानि चाहिये जिसकि बजहसे जो मुम्बै कि समस्याये है उन्को solve किया जा सक्ता है. the city is in deep trouble as everyday around 300 families come 2 mumbai and BMC is not able to provide infrastructure to them.they r leaving in worst conditions in slums. बहुत सारे देशोंमैं ऐसी permit system है. even सिंगापूर के mayor जब मुम्बै आये थे तो उन्होने कहा था कि मुम्बै के development के लिये आनेवाले लोगों को रोकना चाहिये. राजने येह सब politics के लिये किया क्योंकि उध्दव ठाकरेने मोर्चा,आंदोलन करके जनताका आवाज़ उठाया था. मुम्बै मैं ULC के खिलाफ़,मेहेंगाई के खिलाफ़ बडे मोर्चे,विदर्भ मैं farmers के suicide को रोकने के लिये बडी बडी rallies कियि थी जिसके बजहसे लोग केहेने लगे थे कि उध्दव next CM बनेंगे. अभि येह मुद्दा उठाके अपना नाम आगे लानेके लिये राज ने येह किया है.

5 comments:

Anonymous said...

the incidence of rape n cuttin the limbs etc by MNS are totally baseless..
The comments by both persons HINDI as well as MARATHI as praiseworthy..
Maramari can not be long term solution..but definately it has sent the message to UP n Bihar...As mentioned in the blog there shud be a permit system n yes development of infrastructure is very imp...over all good analysis of current situation n good intelectual solution..

Anonymous said...

Mr.S-जनाब मै भि पुना का हि रहने वाल हुन और अभि CA(USA) मै काम कर्ता हुं पेहेले हुम indian है समझ गये कल राज ठाकरे के गुन्डो ने ४ लोगोन के हाथ पाओं काट डाले जिस्मे एक lady भि है. क्या येह सहि है ????????????? कहि भि रहो .....remember this things we are all of first indian! ज़य हिन्द..


Thapa ahet ya saglya.

Anonymous said...

आता खरा फरक उघड झाला! बघा बालासाहेब ठाकरे लालू प्रसाद यादव ह्यांनी रेलवे बजेट जाहिर केले. महाराष्ट्रासाठी काय केले? मुम्बईसाठी दर तीन मिनीतांनी लोकल सेवा उपलब्ध व्हावी म्हनून एवढा संप केला तरीसुधा ही सेवा मिलायची राहिली.
बजेट काय?
रेलवे मध्ये फक्त बिहारी लोकाना नोकरी मिलनार,
रेलवे मध्ये फक्त बिहारी लोकाना ठेके मिलनार,
रेलवे च्या कॉल सेंटर मध्ये फक्त बिहारी लोक ठेवणार,
रेलवे फक्त बिहारी लोकांची होणार बाकी सर्व चले जाव.
हम बिहारी है और बिहारी लोगोंसे कोई ताकदवर नहीं. बालासाहेब आप बुढे हो गए हैं और आप अब सिर्फ रामनाम की माला जपो. महाराष्ट्रा अब हमारा है. हमारा चारा अब महाराष्ट्र में हैं.
बालासाहेब हा वलू कसा आवरयाचा राज चे काका म्हनून राज ला मदत करा. नाहीतर हा वलू नव्हे लालू सगल्या शेताची नासधुस करेल.

Anonymous said...

Amar singh and Abu Azmi started all that mess. They are the biginners of fights, they should be punished first. Laloo Yadav should be thrown away from country. Our government could not succeed to recover chara ghotala amounts from him. Manmohansingh is blind indeed.

Unknown said...

Ho amhi manla ki Thakre saheb je kahi karat ahe to marathi Bana nahi. Mag tumhi uchala ki vida. Dusryala bolna far sopa asta pan kruti karna tevdhch kathin. Dusryala bot dakhvtanna apan char bote aplya kade thevto. Thakre sahebanni je kahi kele te tyanna yogya vatle mhanun kele. Ek kshnala apan manle ki tumcha lekh vachun Thakre saheb far bharavit zale aani tyanni he sagala sodle tar mag kon aahe Amrathyanna adwayla..... tumchya jawal uttar ahe. Te je kahi marathi lokansathi karat aahe tya madhe tyanch uddesh kahihi aso pan ya ladhyamadhe aplyala ek ledear hawa aahe ani tich leadership Thakre purwat aahe.